डा. संदीप गुप्ता ने बताया कि जब मरीज को उनके पास लाया गया तो उनको बहुत ज्यादा दर्द था तथा वह चल फिर नहीं सकती थी। उनको कूल्हे तथा जांघ की हड्डी टूटी होने के कारण ज्यादा तकलीफ थी, क्योंकि पहले से लगाया गया इप्लांट भी टूट चुका था। इससे फोर्टिस की टीम ने तुरंत हिप रिप्लेसमेंट करने का फैसला लिया ताकि अन्य नुकसान से बचा जा सके।
डा. गुप्ता ने बताया कि मरीज के आप्रेशन पर दो घंटे का समय लगा तथा आप्रेशन से अगले दिन ही उनको वॉकर की सहायता से चल-फिरने को कहा गया। आप्रेशन के चार दिन बाद मरीज को अस्पताल से छुट्टी दे दी गई। उन्होंने बताया कि हिप ज्वाइंट ट्रांस्पलांट के बाद वह बिल्कुल स्वस्थ हैं तथा अपने रोजाना के काम काज के काबिल हो गए हैं।
डा. संदीप गुप्ता ने बताया कि ‘फेथ’ तकनीक एक सुरक्षित सर्जरी है, जिससे आप्रेशन में पूरी कामयाबी हासिल होती है, क्योंकि यह मरीज की शारीरिक बनावट अनुसार इम्पलांट की लंबाई निश्चित करती है तथा मरीज की हड्डी छोटी या बड़ी होने की गुजांइश नहीं रहती तथा मांसपेशियों पर ज्यादा खिचाव नहीं पड़ता। उन्होंने बताया कि फोर्टिस अस्पताल मोहाली उत्तरी भारत में पहला ऐसा अस्पताल है, जहां समर्पित हिप रिप्लेसमैंट यूनिट स्थापित है।
इस मौके मरीज हरजीत कौर ने कहा कि डा. संदीप गुप्ता ने उनको इलाज की सबसे बेहतरीन इलाज की पेशकश की। मैं अपने जैसे मरीजों को रिवीजन हिप रिप्लेसमेंट का सुझाव देती हूं।
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